बांग्लादेश में आंदोलन के दौरान एक हजार से ज्यादा की मौत, दर्जनों पुलिसकर्मी भी घायल

पीटीआई, ढाका। बांग्लादेश में जुलाई और अगस्त में सरकार के खिलाफ हुए आंदोलन में एक हजार से ज्यादा लोग मारे गए और एक हजार से ज्यादा घायल हुए। घायलों में 400 से ज्यादा वे हैं जो पुलिस फायरिंग के चलते एक या दोनों आंखों से दृटिहीन हो गए हैं। यह जानकारी अंतरिम सरकार में स्वास्थ्य विभाग की प्रभारी मंत्री नूरजहां बेगम ने कई अस्पतालों का दौरा करने के बाद दी है।

उन्होंने बताया कि आंदोलन के दौरान हुई हिंसा में दर्जनों पुलिसकर्मी भी घायल हुए हैं। इससे पहले संयुक्त राष्ट्र ने बांग्लादेश में आंदोलन के दौरान 650 लोगों के मारे जाने की बात कही थी।

पूर्व स्पीकर और पूर्व वाणिज्य मंत्री गिरफ्तार

बांग्लादेश में गुरुवार को संसद की पूर्व स्पीकर शिरीन शर्मिन चौधरी और पूर्व वाणिज्य मंत्री टीपू मुंशी को एक आभूषण विक्रेता की हत्या के मामले में गिरफ्तार कर लिया गया। 74 वर्षीय मुंशी को बुधवार देर रात उनके ढाका स्थित आवास से गिरफ्तार किया गया।

इस बीच ढाका की कोर्ट ने शेख हसीना की सरकार में मंत्री रहे 14 नेताओं और सांसदों के देश से बाहर जाने पर रोक लगा दी है। इन लोगों पर दर्ज आपराधिक और भ्रष्टाचार के मामलों के चलते इनके देश से बाहर जाने पर रोक लगाई गई है।

एक अन्य निर्णय के तहत अंतरिम सरकार ने गुरुवार को पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना और उनके परिवार के सदस्यों को मिली विशेष सुरक्षा को खत्म कर दिया है।

पन्ना का शव 26 अगस्त को मिला

जबकि अंतरिम सरकार की कार्रवाई से बचने के लिए बांग्लादेश से भागे अवामी लीग की छात्र शाखा छात्र लीग के नेता इशाक अली खान पन्ना का क्षत-विक्षत शव भारत के मेघालय राज्य में बांग्लादेश से सटे इलाके में पाया गया है। एसपी गिरि प्रसाद के अनुसार पन्ना की पहचान शव के पास मिले पासपोर्ट से हुई। पन्ना का शव 26 अगस्त को मिला था।

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